इस योग में जन्म लेने वाला जातक बुद्धिमान, उत्तम वंधुगुणी, महाबली, सत्य बोलने वाला, बहुमूल्य आभूषणों को धारण करने वाला, बज्र के समान सुदृढ़ व सभी अस्त्र विद्याओं में निपुण, धन-धान्य, तत्व ज्ञान से संपन्न होता है। बहुत विक्रमी भी होता है। वज्र का अर्थ होता है कठोर। इस योग में वाहन आदि नहीं खरीदे जाते हैं अन्यथा उससे हानि या दुर्घटना हो सकती है। इस योग में सोना खरीदने पर चोरी हो जाता है और यदि कपड़ा खरीदा जाए तो वह जल्द ही फट जाता है या खराब निकलता है।
जातक शरीर से बलवान होता है कुस्ती शरीर से किये जाने वाले काम सिक्योरिटी वाले काम लडाई झगडा मे शरीर को प्रयोग करने वाले काम रीकवरी आदि के काम करने तथा लोगो से शरीर बल से जूझने की कला होती है अक्सर इस योग मे पैदा होने वाले जातक अपने शरीर की आहुति लोगो के लिये देते है और सुरक्षा आदि के कारको मे अपनी जान गंवाते देखे जाते है,इस योग मे जन्म लेने वाले जातक अक्सर अपने से बहुत ही कम उम्र के लोगो के साथ जैसे पुरुष स्त्री के लिये और स्त्री पुरुष के लिये अपनी कामेक्षा को जाहिर करते देखे जाते है अप्राकृतिक रूप से मैथुन करना और मैथुन मे शरीर को प्रताणित करना भी देखा जाता है अक्सर इस योग मे पैदा होने वाले जातक दूषित विचारधारा के अन्दर फ़ंस जाते है साथ ही अपनी घरेलू मान मर्यादा को भूल कर दूसरे लोगो की संगति मे आकर बडे से बडे कुकर्म भी कर बैठते है